सासाराम, बिहार: बुधवार को केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने सासाराम में केंद्रीय विद्यालय के प्रिंसिपल मयंक कुमार श्रीवास्तव को 32,000 रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया। यह कार्रवाई तब हुई जब CBI को एक निजी फर्म ‘माही एंटरप्राइजेज’ के प्रोपराइटर प्रिंस कुमार ने शिकायत दी कि प्रिंसिपल ने विद्यालय में आपूर्ति की गई 1.92 लाख रुपये की सामग्री का भुगतान कराने के बदले रिश्वत की मांग की थी।
माही एंटरप्राइजेज, जो कि गवर्नमेंट ई-मार्केटप्लेस (GeM) पोर्टल पर पंजीकृत है, ने इसकी सूचना CBI को दी। सीबीआई ने शिकायत की पुष्टि करने के बाद कार्रवाई की योजना बनाई और एक जाल बिछाया। जैसे ही श्रीवास्तव ने तय समय पर 32,000 रुपये की रिश्वत ली, CBI की टीम ने उन्हें मौके से गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के बाद, CBI ने प्रिंसिपल श्रीवास्तव के आवास की तलाशी ली जहां से कई महत्वपूर्ण दस्तावेज जब्त किए गए। उनके खिलाफ आगे की पूछताछ के लिए उन्हें पटना स्थित CBI कार्यालय लाया गया है। आज, उन्हें विशेष CBI अदालत में पेश किया जाएगा।
इस मामले की जांच जारी है, और इस गिरफ्तारी ने शिक्षा क्षेत्र में भ्रष्टाचार के खिलाफ एक और महत्वपूर्ण कदम उठाया है। शिक्षा के क्षेत्र में ऐसे मामलों की बढ़ती संख्या ने प्रश्न उठाए हैं कि क्या यह केवल एक अलग मामला है या भ्रष्टाचार का व्यापक नेटवर्क सक्रिय है। CBI की इस कार्रवाई ने स्पष्ट किया है कि शिक्षा के पवित्र क्षेत्र में भ्रष्टाचार को किसी भी कीमत पर सहन नहीं किया जाएगा।
इस मामले पर माही एंटरप्राइजेज और अन्य संबंधित लोगों के बयान का इंतजार किया जा रहा है। सीबीआई के अधिकारियों का कहना है कि वे मामले की बारीकी से जांच करेंगे और सभी पहलुओं का ध्यान रखेंगे।